
चक्रवात सितरंग के लिए अलर्ट जारी कर दिया गया है. बंगाल के कई इलाकों में लोगों को सुरक्षित स्थानों में भेजा रहा है. इसके साथ ही एनडीआरएफ और एसडीआरएफ की कई टीमें अभी से तैनात कर दी गई हैं. मौसम विभाग के अनुसार चक्रवात सितरंग ने रविवार शाम को बंगाल की खाड़ी के ऊपर रफ्तार और तेज कर ली है. सोमवार को एक भीषण चक्रवाती तूफान तब्दील हो सकता है. सितरंग बांग्लादेश में तिनकोना द्वीप और सैंडविप बरिसल के पास भूस्खलन ला सकता है. चक्रवात निगरानी विभाग के प्रभारी आनंद कुमार दास ने कहा, सितरंग कुछ घंटों के लिए लैंडफॉल के दौरान एक गंभीर चक्रवाती तूफान रहेगा. इसके बाद यह धीरे-धीरे खत्म हो जाएगा.
बंगाल की खाड़ी के ऊपर बना गहरा दबाव रविवार शाम को चक्रवात में तब्दील हो गया. भारत मौसम विज्ञान विभाग के अनुसार 25 अक्टूबर की सुबह बांग्लादेश तट को पार करने से पहले इसके प्रचंड चक्रवाती तूफान का रूप लेने की संभावना है. थाईलैंड ने इस चक्रवात को सितरंग नाम दिया है. आईएमडी के मुताबिक, चक्रवात के सोमवार यानी कल तक ये चक्रवाती तूफान में तब्दील होने हो सकता है. इसमें हवा की गति 90 से 100 किमी प्रति घंटे से 110 किमी प्रति घंटे तक पहुंच जाएगी.
ज्वार की लहरें 6 मीटर तक उठ सकती हैं
आईएमडी ने कहा कि पश्चिम बंगाल के तटीय जिलों में भारी से बहुत भारी बारिश और उत्तरी तटीय उड़ीसा में भारी बारिश होने की संभावना है. रविवार को शाम 5.30 बजे, साइक्लोन पश्चिम बंगाल में सागर द्वीप से 580 किमी दक्षिण में और बांग्लादेश में बारीसाल से 740 किमी दक्षिण-दक्षिण पश्चिम में था. कोलकाता में क्षेत्रीय मौसम केंद्र के उप महानिदेशक संजीव बंदोपाध्याय ने कहा कि यह पश्चिम बंगाल और बांग्लादेश में फैले सुंदरबन को मुख्य रूप से प्रभावित करेगा क्योंकि मौसमी दशाओं और अमावस्या के दोहरे प्रभाव के कारण ज्वार की लहरें छह मीटर की ऊंचाई तक उठने की संभावना है.
मंगलवार तक पहुंच सकता है बांग्लादेश
उन्होंने कहा कि चक्रवात मंगलवार सुबह बांग्लादेश में टिंकोना द्वीप और सैंडविप के बीच दस्तक दे सकता है. उन्होंने बताया कि बंगाल की खाड़ी के ऊपर बने गहरे दबाव के क्षेत्र के कारण दक्षिण बंगाल के जिलों में शनिवार शाम से बुधवार सुबह तक हल्की से मध्यम बारिश हो सकती है. बंदोपाध्याय के अनुसार, गहरे दबाव के क्षेत्र के कारण दक्षिण 24 परगना और उत्तर 24 परगना जैसे तटीय जिलों में सोमवार को भारी से बहुत भारी बारिश होने, जबकि पूर्वी और पश्चिमी मिदनापुर जिलों में भारी बारिश होने के आसार हैं. उन्होंने कहा कि कोलकाता, हावड़ा और हुगली में सोमवार को मंगलवार को मध्यम स्तर की बारिश होने का अनुमान है. वहीं, दक्षिण 24 परगना, उत्तर 24 परगना और नाडिया जिलों को मंगलवार को भारी बारिश का सामना करना पड़ सकता है.
तटीय इलाकों में जाने पर पूरी तरह से रोक
मौसम ब्यूरो ने कहा कि पश्चिम बंगाल और पूर्वोत्तर राज्यों में संपत्ति और खड़ी फसलों को नुकसान हो सकता है. इसने निचले इलाकों में बाढ़ और स्थानीय बाढ़ और भारी बारिश के कारण भूस्खलन की चेतावनी भी दी है. पश्चिम बंगाल में मौसम विभाग ने मछली पकड़ने पर पूरी तरह रोक लगाने की सलाह दी है और लोगों को सुरक्षित स्थानों पर रहने को कहा है. दक्षिण 24 परगना के जिलाधिकारी सुमित गुप्ता ने कहा कि जिले में 10,000 लोगों को पहले ही सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया जा चुका है, और अन्य 30,000 लोगों को सुरक्षित जगहों पर भेजने का कार्य जारी है. उन्होंने कहा कि 26-26 कर्मियों के साथ राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ) और राज्य आपदा मोचन बल (एसडीआरएफ) की सात टीम जिले में तैयार हैं.
आज भी भारी बारिश का अलर्ट
ओडिशा में तटीय जिलों केंद्रपाड़ा, जगतसिंहपुर और पुरी के कुछ स्थानों पर सोमवार सुबह साढ़े आठ बजे तक भारी बारिश की संभावना है. मंगलवार सुबह तक बालासोर, भद्रक, जाजपुर, केंद्रपाड़ा, जगतसिंहपुर और कटक में भारी बारिश के संबंध में येलो चेतावनी जारी की गई थी। गंजाम जिला प्रशासन ने गोपालपुर समुद्र तट पर पर्यटकों के प्रवेश पर रोक लगा दी है.
एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा, यह प्रतिबंध इसलिए लगाया गया क्योंकि चक्रवात की चेतावनी के बावजूद रविवार शाम को बड़ी संख्या में लोग समुद्र तट पर जमा हो गए.
और तेज नहीं होगा सितरंग- मौसम वैज्ञानिक
स्काईमेट वेदर सर्विसेज में जलवायु परिवर्तन और मौसम विज्ञान के उपाध्यक्ष महेश पलावत ने कहा कि चक्रवात सितरंग के और तेज होने की संभावना कम है. पलावत ने कहा, “ऐसा इसलिए है क्योंकि जब सितरंग एक गंभीर चक्रवात या चक्रवात के रूप में बांग्लादेश के तट पर पहुंचता है, तो उत्तर-पश्चिमी शुष्क हवाएं सिस्टम में प्रवेश करेंगी और विंड शीयर भी बढ़ जाएंगी, जो चक्रवात को और तेज नहीं होने देगी. लेकिन पश्चिम बंगाल के तटीय हिस्सों में 70 से 80 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से तेज हवाएं और भारी बारिश हो सकती है.
(भाषा इनपुट के साथ)
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