अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस (International Womens Day) के अवसर पर मंगलवार को विशाखापत्तनम (Visakhapatnam) से रायगडा तक एक ऑल वुमन क्रू स्पेशल ट्रेन (All women crew special train) का उद्घाटन किया गया. ईस्ट कोस्ट रेलवे महिला कल्याण संगठन की अध्यक्ष परिजाता सत्पथी ने ट्रेन को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया.ट्रेन चलाने वाली में लोको पायलट साधना कुमारी, सहायक लोको पायलट एन माधुरी और गुड्स गार्ड राम्या का नाम शामिल है. वहीं ट्रेन में 3 टिकट चेकिंग स्टाफ सीवी जी मंगेशरी, बी खिल्लर और डी राधा है. यह पहली बार था जब ईस्ट कोस्ट रेलवे ने अपनी पहली महिला चालक दल वाली यात्री ट्रेन चलाई.
वरिष्ठ डिविजन कमर्शियल मैनेजर ए.के. त्रिपाठी ने कहा कि भारतीय रेलवे ने विशेष रूप से वाल्टेयर डिवीजन में महिला सशक्तिकरण को बुलंद किया गया है. यहां महिलाएं लोको के महत्वपूर्ण हिस्सों के रखरखाव, ट्रैक की देखभाल में लगे ट्रैक का रखरखाव में भी लगी हुई हैं. रूट रिले इंटरलॉकिंग, गुड्स गार्ड, लोको पायलट, टिकट चेकिंग और ऑफिस ड्यूटी में महिला टीम कामयाब रही है. वाल्टेयर डिवीजन ने एक विशेष महिला सुरक्षा टीम मेरी सहेली भी संचालित की है, जो ट्रेनों या स्टेशन पर महिला यात्रियों की देखभाल करती है. वहीं रेल प्रबंधक अनूप सत्पथी ने इस उपलब्धि पर वाल्टेयर मंडल की सभी महिला टीम को बधाई दी है.
Andhra Pradesh | An all-women crew spl train was inaugurated today from Visakhapatnam to Rayagada. Three women who drove the train were loco pilot Sadhana Kumari, Asst Loco Pilot N Madhuri & Goods Guard K Ramya.The 3 Ticket Checking staff were CV G Mangeswari, B Khillar & D Radha pic.twitter.com/512l1xKSpw
— ANI (@ANI) March 8, 2022
रेलवे में बढ़ी महिलाओं की भागीदारी
आपको बता दें कि अंतर्राष्ट्रीय महिला सप्ताह के मौके पर रेलवे में नारी सशक्तिकरण की छवि दिखाई दे रही है. भारतीय रेलवे ने ट्वीट करके रेलवे में महिलाओं की भागीदारी की झलक दिखाते हुए नारी शक्ति को सलाम किया है. रेलवे ने अंतरराष्ट्रीय महिला सप्ताह पर दिखाया कि कई ट्रेनों की कमान महिलाओं के हाथ में है. रेलवे ने बुधवार को ट्वीट के माध्यम से जानकारी दी कि माटुंगा रेलवे स्टेशन का संचालन सिर्फ महिलाएं कर रही हैं. इसका संचालन स्टेशन मास्टर से लेकर गार्ड तक सभी पदों पर महिलाएं ही नियुक्त हैं. ये वैश्विक स्तर पर एक नई पहचान दिला रही हैं. इस स्टेशन का नाम लिम्का बुक ऑफ रिकॉर्डस में दर्ज है. मंत्रालय के अनुसार इस स्टेशन के हर विभाग में सिर्फ महिला स्टाफ को ही नियुक्त किया गया है. महिलाएं किसी भी क्षेत्र में पुरुषों से कम नहीं हैं.
2016 में पहली सहायक लोको पायलट बनीं उदिता वर्मा
रेलवे ने ट्वीट कर कहा, ‘बदल रहा वक्त, “हर क्षेत्र में नारी हो रही सशक्त. हमारी महिला कर्मचारी संभाल रही हैं माटुंगा समेत देश के कई रेलवे स्टेशनों की कमान, बढ़ा रही हैं देश की नारी शक्ति का मान, उनकी कर्तव्यनिष्ठा को भारतीय रेल का सलाम”. आपको बता दें कि इससे पहले पश्चिम रेलवे 2016 से ही महिलाओं को हेवी ड्यूटी में नियुक्ति देकर उनकी सहभागिता बढ़ाया है. 2016 में पहली बार उदिता वर्मा को सहायक लोको पायलट के रूप में नियुक्ति दी गई थी. 2021 में पहली बार वसई स्टेशन पर एक इतिहास बना जब एक पूरी मालगाड़ी को लेकर महिला स्टाफ स्टेशन पर पहुंचा.
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